उसे यह शक्ति कैसे प्राप्त हुई ?
पीटर के जीवन में एक बहुत आश्चर्यजनक बात जो थी वह यह थी कि उसे यह छठी इन्द्रिय (हिस) उसकी माँ के पेट से नहीं मिली थी। वह 32 वर्ष तक एक आम इंसान की तरह ही था जिसके पास पाँच इन्द्रिय के अलावा कोई और इन्द्रिय नहीं थी लेकिन 1943 में जब एक दिन वह अपने विमान से धरती से दस मीटर की ऊँचाई से गिरा और बेहोश हो गया। वह ख़ुद कहता है कि धरती से टकराने के बाद पहले मेरे मस्तिष्क में मेरी ज़िन्दगी की सारी घटनाएँ घूम गयीं और यहाँ तक कि मुझे यह भी याद आ गया कि एक बार मुझे कुत्ते ने काटा था। जब मैं ज़मीन और आसमान के बीच में था तो मैं सिर्फ़ यह सोच रहा था कि मैं मरना नहीं चाहता था।
इस घटना के चार दिन बाद उसे हस्पताल के बेड पर होश आया तो वह सर में बहुत दर्द महसूस कर रहा था और वह दर्द के कारण चिल्ला रहा था। नर्स ने उसे बताया कि गिरने के कारण उसका सर फट गया है और उसे बहुत गहरी चोट आयी है जब पीटर ने यह ख़बर सुनी तो उसका कोई उत्तर नही दे सका। वह बहुत थका हुआ था। लेकिन वह अपने अंदर कुछ अजीब परिवर्तन महसूस कर रहा था। जब नर्स कमरे से गयी तो पीटर ने अपने बग़ल वाले मरीज़ की तरफ़ देखा यह वह समय था कि जब उस के अंदर एक अलग शक्ति पैदा हो गयी।
पीटर में एक इल्हामी स्थिति पैदा हुई, उसने अपने साथ वाले मरीज़ों को पहले कभी नहीं देखा था, और उसने उन लोगों से पहले कभी बात नहीं की थी लेकिन एक ही लम्हे में उसने महसूस किया कि वह उन बीमारों को जानता है यहाँ तक कि उन मरीज़ों के अतीत और भविष्य के बारे में भी जानता है यह इल्हाम इस क़दर अजीब था कि वह अपने मस्तिष्क में पैदा होने वाले इल्हाम को उजागर करने से ना बच सका और उसने कहा कि तुम लोग सत्य के पुजारी नहीं हो।
एक बीमार ग़ुस्से में बोला : जी हाँ, मगर तुम यह बात कैसे जानते हो ?
पीटर ने कहा कि इसलिए कि तुम्हारा बाप एक हफ़ता पहले मर गया और उसने तुम्हें यादगार के लिए एक क़ीमती घड़ी दी थी। लेकिन तुमने अपने बाप की घड़ी को बेच दिया । साथ वाले मरीज़ ने आश्चर्य से कहा कि यह तुमहें कैसे मालूम है ?
उस दिन के बाद वह इंसान पीटर को भूत या जिन समझने लगा और उससे डरता था। यूँ पीटर ने पहली बार अपनी इस इन्द्रिय (हिस) को इस्तेमाल किया कि जिसने उसके जीवन को बदल कर रख दिया ।
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